आरजेडी सुप्रीमो और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को रांची की स्पेशल कोर्ट ने 5 साल की सजा सुनाई है, साथ ही साथ 60 लाख का जुर्माना भी लगाया।चारा घोटाले से जुड़े पांचवे मामले में सीबीआई की स्पेशल कोर्ट का फैसला आ गया है। इससे पहले भी चार मामलों में लालू प्रसाद यादव को सजा हो चुकी है। वह अभी जमानत पर बाहर हैं। ऐसे में पांचवे मामले में आए फैसले ने उनकी मुश्किलें एक बार फिर बढ़ा दी हैं। स्वास्थ्य की बात करे तो लगातार लालू यादव के स्वास्थ्य में गिरावट आ रही है।
इससे पहले भी लालू यादव को मामले में दोषी पाए जाने के बाद सजा मिल चुकी है। सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने 15 फरवरी को लालू यादव समेत अन्य आरोपियों को को 139.5 करोड़ रुपये के डोरंडा कोषागार से जुड़े चारा घोटाले में दोषी पाया था। कोर्ट ने तब सजा का ऐलान नहीं किया था। आज कोर्ट की कार्यवाही ऑनलाइन हुई, लालू ऑनलाइन ही इसमें शामिल हुए।
राष्ट्रीय जनता दल (RJD) सुप्रीमो लालू यादव को चारा घोटाले से जुड़े अन्य चार मामलों (दुमका, देवघर और चाईबासा) में पहले ही दोषी ठहराया जा चुका है। इसमें उनको कुल 14 साल की सजा हुई है। वहीं जुर्माने के तौर पर उनको अबतक 60 लाख रुपये देने पड़े थे।
फ़िलहाल ज़मानत पर बाहर हैं लालू यादव
लालू यादव को दुमका, देवघर और चाईबासा कोषागार से जुड़े चार मामलों में जमानत मिल गई है। चारा घोटाला मामला जनवरी 1996 में पशुपालन विभाग में छापेमारी के बाद सामने आया। सीबीआई ने जून 1997 में प्रसाद को एक आरोपी के रूप में नामित किया। एजेंसी ने प्रसाद और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा के खिलाफ आरोप तय किए। सितंबर 2013 में निचली अदालत ने चारा घोटाले से जुड़े एक मामले में प्रसाद, मिश्रा और 45 अन्य को दोषी ठहराया और प्रसाद को रांची जेल भेज दिया गया। दिसंबर 2013 में उच्चतम न्यायालय ने मामले में प्रसाद को जमानत दे दी, जबकि दिसंबर 2017 में सीबीआई अदालत ने उन्हें और 15 अन्य को दोषी पाया और उन्हें बिरसा मुंडा जेल भेज दिया।