नोएडा में ट्विन्स टावर को तोड़ने का कार्य तेजी के साथ चल रहा है। अब ट्विन्स टावर को तोड़ने वाले इंजीनियरों की एक समस्या बढ़ गई है। दरअसल, ट्विन्स टावर में बाहर से गुजर रहे नाले का गंदा पानी घुस गया है और काफी मेहनत के बाद भी निकल नहीं रहा है। इंजीनियरों ने पानी निकालने के लिए कुछ मशीनें और पानी की मोटर भी लगाई है। लेकिन पानी निकलता है और फिर अंदर घुस रहा है। ऐसे में इंजीनियरों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
नोएडा के सेक्टर-93ए में स्थित सुपरटेक ट्विन्स टावर को आगामी 14 मई 2022 तक तोड़ा जाना है और 14 अगस्त 2022 तक ध्वस्त के बाद सारा मलबा उठाया जाना है। यह आदेश सुप्रीम कोर्ट ने दिया है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर काफी काफी तेजी के साथ चल रहा है। ट्विन्स टावर को तोड़ने की जिम्मेदारी दक्षिण अफ्रीका की एक कंपनी को मिली है। जिसके विदेशी इंजीनियर भी ट्विन्स टावर का रोजाना निरक्षण कर रहे है और तोड़ने के कार्य में तेजी लेकर आ रहे है।
अब इस मामले में इंजीनियरों को एक समस्या का सामना करना पड़ रहा है। दरअसल, ट्विन्स टावर के बेसमेंट में पानी भर गया है। यह पानी आसपास की सोसाइटी और नाले का है। बताया जा रहा है कि, आसपास की सोसाइटी का पानी नाले में जा रहा है और नाले से गंदा पानी ट्विन्स टावर के बेसमेंट में भर रहा है। ऐसे में बेसमेंट से पानी निकालने के लिए इंजीनियरों ने मशीन भी लगाई है। लेकिन उसके बाद भी पानी पूरा नहीं निकल पा रहा है। बताया जा रहा है कि, नाले का गंदा पानी बार-बार बेसमेंट में भर रहा है। एक सामान्य बात यह है कि, अगर पूरी तरीके से पानी निकलने के बाद बेसमेंट सूखा नहीं तो विस्फोटक ठीक तरीके से नहीं लग पाएगा।