‘मुझे ‘अंबानी’ और RSS से जुड़े व्यक्ति की फ़ाइल दबाने के लिए 300 करोड़ की रिश्वत की पेशकश की गई थी’ – सत्यपाल मालिक

by MLP DESK
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जम्मू-कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने दावा किया है कि उन्हें फ़ाइलों को साफ़ करने के लिए रिश्वत की पेशकश की गई थी, लेकिन वे इसके पीछे नहीं पड़े। उन्होंने अपने फ़ैसले का समर्थन करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भी प्रशंसा की।

 

Satyapal Malik/twitter

 

सत्यपाल मलिक के मुताबिक़, ‘अंबानी’ और ‘आरएसएस से जुड़े व्यक्ति’ की दो फ़ाइलों को मंज़ूरी देने पर उन्हें 300 करोड़ रुपये की रिश्वत की पेशकश की गई थी।

उनके भाषण का एक वीडियो वायरल हो गया है, जहां वे कहते हैं, “कश्मीर जाने के बाद, दो फ़ाइलें (मंज़ूरी के लिए) मेरे पास आईं, एक अंबानी की और दूसरी आरएसएस से जुड़े व्यक्ति के पास, जो महबूबा मुफ़्ती के नेतृत्व वाली (पीडीपी-बीजेपी गठबंधन) सरकार में मंत्री था और उसने प्रधानमंत्री के बेहद क़रीब होने का दावा किया।”

सत्यपाल मलिक को 21 अगस्त, 2018 को जम्मू और कश्मीर के राज्यपाल के रूप में नियुक्त किया गया था। बाद में उन्हें अक्टूबर 2019 में गोवा स्थानांतरित कर दिया गया।

मलिक वर्तमान में मेघालय के राज्यपाल हैं और देश में चल रहे किसान आंदोलन का समर्थन कर रहे हैं। मलिक ने कहा कि उन्होंने दोनों सौदे रद्द कर दिए हैं।

उन्होंने वीडियो में कहा, “सचिवों ने मुझसे कहा कि आप फ़ाइलों को साफ़ करने के लिए 150 करोड़ रुपये प्राप्त कर सकते हैं।” हालांकि अबतक यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि वे किन फ़ाइलों की बात कर रहा था।

वह आगे कहते हैं, “एहतियात के तौर पर, मैंने प्रधानमंत्री से मिलने का समय लिया और उन्हें दो फ़ाइलों के बारे में जानकारी दी साथ ही ये भी बताया कि घोटाले में शामिल लोग उनका नाम ले रहे हैं। मैंने सीधे उनसे (पीएम) कहा कि मैं अपना पद छोड़ने के लिए तैयार हूं। लेकिन अगर मैं रुकता हूं, तो मैं फ़ाइलों को साफ़ नहीं करूँगा।”

सत्यपाल मलिक में भ्रष्टाचार पर समझौता न करने की बात कहने के लिए प्रधानमंत्री की प्रशंसा की। बता दें कि मलिक ने यह भी आरोप लगाया है कि कश्मीर देश की सबसे भ्रष्ट जगह है।

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